किशनगंज /टेढ़ागाछ/विजय कुमार साह
हिंदुस्तान ने सबसे तेज सड़क निर्माण का विश्व रिकॉर्ड बनाया है। इंफ्रा स्ट्रक्चर के क्षेत्र में प्रगति को लेकर हर दिन नई नई घोषणाएं हो रही हैं ।लेकिन बिहार के सीमावर्ती किशनगंज जिले के कई इलाके ऐसे है जहां ग्रामीणों के आवागमन का एक मात्र साधन आज भी चचरी पुल है। बांस से बने ये चचरी पुल राज्य सरकार और केंद्र सरकार के दावों की पोल खोलते नजर आते है ।उसपर भी जब इन चचरी पुलों का उद्घाटन धूम धाम से किया जाए ।
मालूम हो कि टेढ़ागाछ प्रखंड क्षेत्र के मटियारी पंचायत के मटियारी घाट कनकई नदी में बना चचरी पुल पर रविवार से आवगमन शुरू हो गया।जिसके बाद ग्रामीणों में खुशी की लहर उमड़ पड़ी। चचरी पुल का रविवार को विधिवत फीता काटकर पूर्व प्रमुख केसर राजा, मुखिया प्रतिनिधि मनोज कुमार यादव,सफदर हुसैन अंसारी एवं शहरुल आलम व अन्य ने उद्घाटन किया।
ग्रामीणों ने कहा कि अब लोगों को घंटों इंतजार नहीं करना पड़ेगा क्योंकि चचरी पुल बन जाने से घंटों का सफर अब मिनटों में होगा। यहां के लोगों के लिए नाव व चचरी पुल ही आवागमन का सहारा है। मटियारी घाट में बना चचरी पुल से रोजमर्रे के कामकाजी राहगीरों का आना जाना लगा रहता है। ज्ञात हो कि मटियारी घाट होकर सैकड़ों लोग रोज साईकिल, मोटर साइकिल, चार चक्का व पैदल यात्रा करते हैं। आजादी के इतने साल बाद भी अब तक यहां पुल निर्माण नहीं हुआ है।
अब तक के विधानसभा, लोकसभा चुनाव में यहां आये प्रत्याशियों से पुल की मांग स्थानीय लोगों द्वारा की जा रही है। फिर भी यहां के लोगों के लिए आवागमन की समस्या बरकरार है। इस ग्रामीण क्षेत्र में आवागमन की समस्या की सुधि लेने वाला कोई नहीं है। ग्रामीणों ने कहा कि सांसद और विधायक को कई बार पुल निर्माण के लिए आवेदन दिया गया ।
लेकिन आज तक सिर्फ आश्वासन ही मिला।गौरतलब है कि इस घाट होकर कलियागंज, पलासी, बहादुरगंज, टेढ़ागाछ सहित आस पास के दर्जनों गावों के लोगों का आवागमन रोज हो रहा है। स्थानीय लोगों ने मटियारी घाट में आरसीसी पुल जल्द निर्माण करने की मांग प्रशासन से की है। यहां पुल निर्माण होने से खजूरबाड़ी, गम्हरिया, बभनगामा, गढ़ीटोला, पुरन्धा, कास्त खर्रा, कुवाड़ी, बेलटोली, टेकनी, मटियारी, नृत्यशाला, कुचहा, टेढ़ागाछ, झाला, सिकटी, भोरहा, खनियाबाद, बैरिया, झुनकी मुसहरा, हाटगांव, धवेली सहित दर्जनों गांव के लोगों का आवागमन सुलभ होगा।